जैविक खेती से अच्छा मुनाफा कमा रहा कृषक


amjad khan
शाजापुर। जैविक खेती कर किसान अच्छा मुनाफा कमा रहा है। जिले के ग्राम बेदारनगर निवासी कृषक जुझारसिंह पिता मोहनलाल जैविक खेती उन्नत तकनीक से कर रहा है। गौरतलब है कि आजकल खेती किसानी में चारों ओर अंधाधुंध कीटनाशक का प्रयोग हो रहा है, जिसके विपरित परिणाम भी सामने आ रहे हैं। कई प्रकार की नई-नई बिमारियों से मानव जाति और जीव-जन्तु ग्रसित हो रहे हंै। शासन स्तर से इन रसायनों के दुष्प्रभाव को कम करने तथा जैव विविधता बनाए रखने के लिए कई सारे प्रयास भी किए जा रहे हैं। शासन के इन्ही प्रयासों से सीख लेकर कृषक जुझारसिंह परमार ने जैविक खेती में अपना पहला कदम 7 वर्ष पूर्व रखा, जिसके फलस्वरूप किसान परमार आज शाजापुर जिले के उन्नत जैविक कृषक के नाम से जाने जाते हैं। इन्होने कीटनाशक के प्रयोग को धीरे-धीरे कम करते हुए अपनी लगभग संपूर्ण कृषि भूमि को जैविक बना लिया है। किसान अपने खेत में केंचुआ खाद, नाडेप, सड़ी गोबर खाद आदि के प्रयोग के साथ-साथ इन्हें अन्य कृषकों को बेचते भी हैं। साथ ही मधुमक्खी पालन भी करते हैं। नीम-तेल, पंच अमृत आदि जैविक कीटनाशक घर पर ही तैयार करते हैं, जिसके परिणामस्वरूप शासन के द्वारा इन्हे जैविक प्रमाणिकरण भी दिया गया है। सामान्य कृषक की तुलना में जुझार 2 से 2.5 गुना ज्यादा दाम प्राप्त करते हैं। इन्होने इस वर्ष अपना जैविक संतरे का बगीचा 50 से 55 रुपए किलोग्राम के भाव से बेचा है। इसके अलावा परमार को उद्यानिकी विभाग से भी समय-समय पर अनेकों योजनाओं में लाभ मिलता रहता है। इन्हे जैविक कृषि के लिए कई प्रशस्ति पत्र, प्रमाण पत्र और अवार्ड भी प्राप्त हुए हैं। परमार अपने जैविक उत्पादों से प्रति वर्ष 4 से 5 लाख रुपए की अतिरिक्त आमदनी प्राप्त करते हैं।